भगवान नारायण के नामों का महत्व (Importance of Lord Narayan’s Names)
भगवान नारायण, जिन्हें भगवान विष्णु के रूप में भी जाना जाता है, सृष्टि के पालनहार हैं। उनके 108 पवित्र नामों का जप करने से जीवन में शांति, समृद्धि, और आध्यात्मिक उन्नति प्राप्त होती है। यह नाम भक्तों के लिए आशीर्वाद स्वरूप हैं और आत्मिक शुद्धि में सहायक होते हैं।
108 नामों का महत्व (Why Are There 108 Names of Lord Vishnu?)
संस्कृत ग्रंथों के अनुसार, संख्या 108 को अत्यंत पवित्र माना जाता है। यह ब्रह्मांड की आध्यात्मिक एवं खगोलीय संरचना को दर्शाती है। भगवान विष्णु के 108 नामों का जाप करने से:
मानसिक शांति मिलती है।
सकारात्मक ऊर्जा प्राप्त होती है।
जीवन की बाधाएँ दूर होती हैं।
मोक्ष प्राप्ति का मार्ग खुलता है।
भगवान नारायण के 108 नाम -108 Names of Lord Narayan
विष्णु
ॐ विष्णवे नमः।
जो परम परमेश्वर हैं
लक्ष्मीपति
ॐ लक्ष्मीपतये नमः।
जो देवी लक्ष्मी के पति हैं
कृष्ण
ॐ कृष्णाय नमः।
जो श्याम वर्ण से युक्त हैं
वैकुण्ठ
ॐ वैकुण्ठाय नमः।
जो वैकुण्ठ में निवास करने वाले हैं
गरुडध्वज
ॐ गरुडध्वजाय नमः।
गरुड़ जिनकी सवारी है
परब्रह्म
ॐ परब्रह्मणे नमः।
जो पराशक्ति परब्रह्म परमात्मा हैं
जगन्नाथ
ॐ जगन्नाथाय नमः।
जो सम्पूर्ण ब्रह्माण्ड के भगवान हैं
वासुदेव
ॐ वासुदेवाय नमः।
जो सबमें वास करने वाले हैं
त्रिविक्रम
ॐ त्रिविक्रमाय नमः।
जो तीनों लोकों को जीतने वाले हैं
दैत्यान्तक
ॐ दैत्यान्तकाय नमः।
जो पापियों का नाश करने वाले हैं
मधुरिपु
ॐ मधुरिपवे नमः।
जो मधु नामक राक्षस का विनाश करने वाले हैं
तार्क्ष्यवाहन
ॐ तार्क्ष्यवाहनाय नमः।
तार्क्ष्य अर्थात् गरुड़ जिनकी सवारी है
सनातन
ॐ सनातनाय नमः।
जो शाश्वत प्रभु हैं
नारायण
ॐ नारायणाय नमः।
जो सभी के आश्रय हैं
पद्मनाभ
ॐ पद्मनाभाय नमः।
जो कमल के आकार की नाभि वाले भगवान हैं
हृषीकेश
ॐ हृषीकेशाय नमः।
जो सभी इंद्रियों के स्वामी हैं
सुधाप्रद
ॐ सुधाप्रदाय नमः।
जो अमृत प्रदान करने वाले हैं
माधव
ॐ माधवाय नमः।
जो ज्ञान के भण्डार हैं
पुण्डरीकाक्ष
ॐ पुण्डरीकाक्षाय नमः।
जो कमल के समान नेत्र वाले हैं
स्थितिकर्ता
ॐ स्थितिकर्त्रे नमः।
जो जगत की स्थिति सुनिश्चित करते हैं
परात्पर
ॐ परात्पराय नमः।
जो पराशक्ति परब्रह्म परमात्मा हैं
वनमाली
ॐ वनमालिने नमः।
जो वनपुष्पों की मालाओं को धारण करते हैं
यज्ञरूप
ॐ यज्ञरूपाय नमः।
जो यज्ञरूपी भगवान हैं
चक्रपाणि
ॐ चक्रपाणये नमः।
जो सुदर्शन चक्रधारी हैं
गदाधर
ॐ गदाधराय नमः।
जो गदाधारी हैं
उपेन्द्र
ॐ उपेन्द्राय नमः।
जो इन्द्र के भ्राता हैं
केशव
ॐ केशवाय नमः।
जो सुन्दर बालों वाले अथवा केशी का वध करने वाले हैं
हंस
ॐ हंसाय नमः।
हंस जिनकी सवारी है
समुद्रमथन
ॐ समुद्रमथनाय नमः।
जो समुद्र का मन्थन करने वाले हैं
हरि
ॐ हरये नमः।
जो प्रकृति के स्वामी हैं
गोविन्द
ॐ गोविन्दाय नमः।
जो गायों और प्रकृति को प्रसन्न करते हैं
ब्रह्मजनक
ॐ ब्रह्मजनकाय नमः।
जिन्होंने भगवान ब्रह्मा को उत्पन्न किया
कैटभासुरमर्दन
ॐ कैटभासुरमर्दनाय नमः।
जिन्होंने कैटभ नामक असुर का वध किया
श्रीधर
ॐ श्रीधराय नमः।
जिनके पास देवी लक्ष्मी हैं
कामजनक
ॐ कामजनकाय नमः।
जो इच्छाओं को पूरा करने वाले हैं
शेषशायी
ॐ शेषशायिने नमः।
जो शेषनाग पर विश्राम करने वाले हैं
चतुर्भुज
ॐ चतुर्भुजाय नमः।
जो चार भुजाओं वाले हैं
पाञ्चजन्यधर
ॐ पाञ्चजन्यधराय नमः।
जिनके पास पाञ्चजन्य नामक शङ्ख हैं
श्रीमान्
ॐ श्रीमते नमः।
जिनके पास श्री अर्थात् लक्ष्मी जी हैं
शार्ङ्गपाणि
ॐ शार्ङ्गपाणये नमः।
जो धनुष धारण करने वाले हैं
जनार्दन
ॐ जनार्दनाय नमः।
जो दयापूर्वक दूसरों की सहायता करने वाले हैं
पीताम्बरधर
ॐ पीताम्बरधराय नमः।
जो पीले वस्त्र धारण करते हैं
देव
ॐ देवाय नमः।
जो हम सभी के आराध्य देव हैं
सूर्यचन्द्रविलोचन
ॐ सूर्यचन्द्रविलोचनाय नमः।
जिनकी आँखें सूर्य एवं चन्द्र के समान हैं
मत्स्यरूप
ॐ मत्स्यरूपाय नमः।
भगवान मत्स्य जो भगवान विष्णु के अवतार हैं
कूर्मतनु
ॐ कूर्मतनवे नमः।
भगवान कूर्म जो भगवान विष्णु के अवतार हैं
क्रोडरूप
ॐ क्रोडरूपाय नमः।
भगवान वराह जो भगवान विष्णु के अवतार हैं
नृकेसरि
ॐ नृकेसरिणे नमः।
भगवान नरसिंह जो भगवान विष्णु के अवतार हैं
वामन
ॐ वामनाय नमः।
भगवान वामन जो भगवान विष्णु के अवतार हैं
भार्गव
ॐ भार्गवाय नमः।
भगवान परशुराम जो भगवान विष्णु के अवतार हैं
राम
ॐ रामाय नमः।
भगवान राम जो भगवान विष्णु के अवतार हैं
बली
ॐ बलिने नमः।
जो अत्यन्त शक्तिशाली हैं
कल्कि
ॐ कल्किने नमः।
भगवान कल्कि जो कलियुग के अन्त में भगवान विष्णु के अवतार होंगे
हयानन
ॐ हयाननाय नमः।
भगवान हयग्रीव जो भगवान विष्णु के अवतार हैं
विश्वम्भर
ॐ विश्वम्भराय नमः।
जो सम्पूर्ण ब्रह्माण्ड के पालनहार हैं
शिशुमार
ॐ शिशुमाराय नमः।
शिशुमार जो भगवान विष्णु का एक स्वरूप है
श्रीकर
ॐ श्रीकराय नमः।
जो अपने भक्तों को भौतिक सुख और आध्यात्मिकता प्रदान करते है
कपिल
ॐ कपिलाय नमः।
जो महान ऋषि कपिल हैं
ध्रुव
ॐ ध्रुवाय नमः।
जो अपरिवर्तनशील हैं
दत्तत्रेय
ॐ दत्तत्रेयाय नमः।
जो सम्पूर्ण ब्रह्माण्ड के शिक्षक हैं
अच्युत
ॐ अच्युताय नमः।
जिनके सामर्थ्य का कोई अन्त नहीं है
अनन्त
ॐ अनन्ताय नमः।
जिनका कोई अन्त नहीं है
मुकुन्द
ॐ मुकुन्दाय नमः।
जो मुक्ति प्रदान करने वाले हैं
दधिवामन
ॐ दधिवामनाय नमः।
दधिवामन जो भगवान विष्णु के स्वरूप हैं
धन्वन्तरि
ॐ धन्वन्तरये नमः।
जो समुद्र मंथन के बाद भगवान विष्णु के आंशिक अवतार के रूप मे प्रकट हुये
श्रीनिवास
ॐ श्रीनिवासाय नमः।
जो देवी लक्ष्मी के स्थायी निवास हैं
प्रद्युम्न
ॐ प्रद्युम्नाय नमः।
प्रद्युम्न जो प्रेम के देवता हैं तथा भगवान विष्णु के ही स्वरूप हैं
पुरुषोत्तम
ॐ पुरुषोत्तमाय नमः।
जो सर्वोत्तम पुरुष हैं
श्रीवत्सकौस्तुभधर
ॐ श्रीवत्सकौस्तुभधराय नमः।
जो श्रीवत्स चिह्न और कौस्तुभ मणि धारण करने वाले हैं
मुराराति
ॐ मुरारातये नमः।
जो मुरा अथवा राक्षसों के विध्वंसक हैं
अधोक्षज
ॐ अधोक्षजाय नमः।
जो इन्द्रियों से प्राप्त होने वाले ज्ञान से परे हैं
ऋषभ
ॐ ऋषभाय नमः।
भगवान ऋषभ जो भगवान विष्णु के अवतार हैं
मोहिनीरूपधारी
ॐ मोहिनीरूपधारिणे नमः।
जिन्होंने मोहिनी रूप में अवतार लिया
सङ्कर्षण
ॐ सङ्कर्षणाय नमः।
भगवान बलराम जो भगवान विष्णु के अवतार हैं
पृथु
ॐ पृथवे नमः।
राजा पृथु जो भगवान विष्णु के अवतार हैं
क्षीराब्धिशायी
ॐ क्षीराब्धिशायिने नमः।
जो क्षीरसागर में शयन करते हैं
भूतात्मा
ॐ भूतात्मने नमः।
जो सभी प्राणियों के आत्मा हैं
अनिरुद्ध
ॐ अनिरुद्धाय नमः।
जो अजेय, निर्विरोध, अनियन्त्रित और बिना बाधाओं वाले हैं
भक्तवत्सल
ॐ भक्तवत्सलाय नमः।
जो अपने भक्तों से अगाध प्रेम रखते हैं
नर
ॐ नराय नमः।
जो पथप्रदर्शक हैं
गजेन्द्रवरद
ॐ गजेन्द्रवरदाय नमः।
जिन्होंने गजेन्द्र को आशीर्वाद दिया
त्रिधाम
ॐ त्रिधाम्ने नमः।
जो तीनों लोकों में विद्यमान हैं
भूतभावन
ॐ भूतभावनाय नमः।
जो पृथ्वी आदि भूतों के उत्पत्ति तथा वृद्धि कर्ता हैं
श्वेतद्वीपसुवास्तव्य
ॐ श्वेतद्वीपसुवास्तव्याय नमः।
जो श्वेतद्वीप में निवास करते हैं
सनकादिमुनिध्येय
ॐ सनकादिमुनिध्येयाय नमः।
जो सनकादि मुनियों के द्वारा भी ध्येय हैं
भगवान्
ॐ भगवते नमः।
जो परम पिता परमेश्वर हैं
शङ्करप्रिय
ॐ शङ्करप्रियाय नमः।
जो भगवान शङ्कर को प्रिय हैं
नीलकान्त
ॐ नीलकान्ताय नमः।
जो नील वर्ण की आभा वाले हैं
धराकान्त
ॐ धराकान्ताय नमः।
जो पृथ्वी का पालन पोषण करते हैं
वेदात्मा
ॐ वेदात्मने नमः।
जो स्वयं वेदस्वरूप हैं
बादरायण
ॐ बादरायणाय नमः।
श्री वेदव्यास जी जो भगवान विष्णु के अवतार हैं
भागीरथीजन्मभूमिपादपद्म
ॐ भागीरथीजन्मभूमिपादपद्माय नमः।
जिनके चरणों से गंगा की उत्पत्ति हुयी
सतां प्रभु
ॐ सतां प्रभवे नमः।
जो सज्जनों के स्वामी हैं
स्वभु
ॐ स्वभुवे नमः।
जो स्वयं उत्पन्न हैं तथा संसार का पालन करते हैं
विभु
ॐ विभवे नमः।
जो सर्वत्र व्याप्त हैं
घनश्याम
ॐ घनश्यामाय नमः।
भगवान कृष्ण जो भगवान विष्णु के अवतार हैं
जगत्कारण
ॐ जगत्कारणाय नमः।
जो सम्पूर्ण जगत के कारणस्वरूप हैं
अव्यय
ॐ अव्ययाय नमः।
जो अजेय और अविनाशी परमात्मा हैं
बुद्धावतार
ॐ बुद्धावताराय नमः।
भगवान बुद्ध जो भगवान विष्णु के अवतार हैं
शान्तात्मा
ॐ शान्तात्मने नमः।
जो अत्यन्त शान्त और निर्मल हैं
लीलामानुषविग्रह
ॐ लीलामानुषविग्रहाय नमः।
जो मनुष्य के रूप में अवतार लेकर लीला करते हैं
दामोदर
ॐ दामोदराय नमः।
भगवान कृष्ण जिन्हें माता यशोदा ओखल से बाँध नहीं पायी थीं